झारखंड की निजी कंपनियों में 75 फीसद नौकरी का नियम लागू हो जायेगा। श्रम मंत्री सत्यानंद भोक्ता ने झारखंड विधानसभा के शीत कालीन सत्र में यह जानकारी दी है। विधानसभा सत्र के शीत कालीन सत्र के तीसरे दिन विधायक प्रदीप यादव सुदिव्य कुमार सोनू के सवाल का जवाब देते हुए यह जानकारी दी है।
निबंधन की प्रक्रिया पर भी प्रदीप यादव ने सवाल खड़े करते हुए कहा, नियोक्ता इस तरफ उत्साहित नजर नहीं आ रहे। 30 दिन में सभी नियोक्ताओं को निबंधन कराना था, लेकिन तीन महीने से ज्यादा बीतने के बाद महज 404 नियोक्ता पंजीकृत हुए हैं। इस दिशा में सरकार की नीति अच्छी है और इसे लागू करने पर भी फोकस किया जाना चाहिए।
प्रदीप यादव ने कहा, राज्य में लगभग 4,000 कंपनियां हैं, जो लोगों को नौकरी देती हैं। उनमें से अब तक सिर्फ 404 ने निबंधन कराया है। सरकार को इस तरफ भी ध्यान देना चाहिए कि कैसे ज्यादा से ज्यादा नियोक्ता निबंधन कराएं औऱ युवाओं को नौकरी मिले। उन्होंने कहा, बाहरी कंपनियां अपने साथ काम करने वाले लोग भी बाहर से लेकर आती है। ऐसे में स्थानीय युवाओं को मौका नहीं मिलता। इस कानून का सख्ती से पालनहो सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए।
सरकारी विभाग भी आजकल आउटसोर्सिंग के जरिये श्रमिकों की नियुक्ति कर रहे हैं. अगर गिरिडीह में एक कम्प्यूटर ऑपरेटर की नियुक्ति होनी है, तो आउटसोर्सिंग कंपनी रांची से कम्प्यूटर ऑपरेटर भेजती है. उन्हें भी कम पैसे दिये जाते हैं। गीरिडीह विधायक सुदिव्य कुमार सोनू ने कहा, गिरिडीह के श्रम विभाग में 100 से भी कम नियोक्ताओं ने अब तक निबंधन कराया है।