रांची: ग्रामीण क्षेत्र के बिजली उपभोक्ताओं को बिजली बिल का बकाया भुगतान करने के लिए झारखंड सरकार वन टाइम सेटलमेंट स्कीम लागू करेगी। इसके तहत बिजली बिल की बकाया राशि के समायोजन के लिए करार होगा। बकाए बिल की राशि का भुगतान उपभोक्ता बगैर डीले पेमेंट सरचार्ज के कर पाएंगे। शुक्रवार को राज्य मंत्रिपरिषद में झारखंड बिजली वितरण निगम के इस प्रस्ताव की मंजूरी से ग्रामीण क्षेत्रों के उपभोक्ताओं को राहत मिलेगी। कई विधायकों ने राज्य सरकार से शिकायत की थी कि ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली के उपभोक्ता बकाए बिल के ज्यादा राशि को लेकर परेशान हैं। इसका निदान इस निर्णय से होगा।
इसमें स्थानीय स्तर पर बिजली वितरण निगम के पदाधिकारी उपभोक्ताओं की मदद कर चार समान किश्त में राशि लेने की पहल करेंगे। उपभोक्ताओं को यह फायदा होगा कि बकाए बिल पर उन्हें ब्याज नहीं देना पड़ेगा। इसके अलावा वे कानूनी प्रक्रिया के दायरे में भी नहीं आएंगे। इस योजना के लिए 31 मई 2021 तक के बकायेदारों को लाभ देने पर विचार होगा। एक किश्त करीब 25 प्रतिशत राशि की होगी। शेष बकाया पर कोई अधिभार योजना के अंतर्गत नहीं देय होगा। हालांकि बिजली बकाए बिल के कारण थाने में जिन उपभोक्ताओं के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई गई है, उन्हें इस योजना का लाभ नहीं मिल पाएगा।
एक अन्य महत्वपूर्ण फैसले में कैबिनेट ने निर्णय किया है कि दीनदयाल उपाध्याय ग्रामीण ज्योति योजना पर 100 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। इससे ग्रामीण क्षेत्र में बिजली वितरण व्यवस्था मजबूत की जाएगी, ताकि ग्रामीणों को निर्बाध बिजली की आपूर्ति की जा सके। बिजली से जुड़े एक अन्य फैसले में रांची के गेतलसूद में 100 मेगावाट के फ्लोटिंग सोलर पावर प्लांट स्थापित करने को स्वीकृति प्रदान की गई है। इसके अलावा पतरातू सुपर थर्मल पावर स्टेशन की संचरण लाइन के लिए 1842.25 करोड़ की पुनरीक्षित राशि की प्रशासनिक स्वीकृति दी गई।
ग्रामीण उपभोक्ताओं पर कुल 1770.05 करोड़ बकाया
राज्य के ग्रामीण घरेलू बिजली उपभोक्ताओं पर 1770.05 करोड़ बकाया है। यह बकाया एरियर डीले पेमेंट सरचार्ज को जोड़कर है। मूल बिल का कुल बकाया 1368.74 करोड़ है जबकि डीले पेमेंट सरचार्ज 401.31 करोड़ है। सरकार डीले पेमेंट सरचार्ज माफ करेगी। राज्य में लगभग 30 लाख ग्रामीण घरेलू बिजली उपभोक्ता हैं, जिसमें से 26 लाख लोगों पर बिजली बिल मद में बकाया है।