गुमला जिला अंतर्गत रायडीह थाना स्थित सीलम पाकर टोली स्थित बीचो-बीच जंगल में लावारिस स्थिति में फेका मिला एक नवजात शिशु जिसकी शरीर में सैकड़ो चुटियां रिंग रही थी और मानवता को शर्मसार कर रही थी , उक्त जंगल में एक शिक्षिका लीलावती कुमारी दतवन तोड़ने बीच जंगल में पहुंची तो उसके कानों में बच्चों की रोने और किलकारी की आवाज सुनकर वह बेचैन हो उठी और उक्त आवाज की तरफ दौड़ पड़ी और वहां पहुंचकर उन्होंने जो दृश्य देख वह सोचने के लिए मजबूर हो गई की क्या ऐसी भी कुमाता हो सकती हैं ??
उन्होंने देखा की एक नवजात शिशु जमीन में फेंका हुआ है और उसके शरीर में सैकड़ों चुटियां रिंग रही है , बाद में वह उक्त नवजात शिशु के शरीर से उक्त चीटियों को हटाया और फिर इसकी सूचना गांव के मुखिया एवं स्थानीय पुलिस को दी , जिसपर पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए उक्त नवजात शिशु को इलाज के लिए गुमला सदर अस्पताल में भर्ती किया गया जहां इलाज के क्रम में उक्त नवजात शिशु की मृत्यु हो गई.
अस्पताल के डॉक्टरों और स्वास्थ्य कर्मियों ने कहां की काफी प्रयास करने के बाद भी हम लोग उक्त नवजात शिशु को बचाने में सफल नहीं रहे इसका हमें काफी दुःख और शूज अफसोस है. उक्त दृश्य को देखकर उपस्थित सभी लोगों की आंखों में आंसू भर गई. बाद में पुलिस उक्त घटनास्थल पर पहुंचकर उक्त जंगल आसपास निवास करने वाले लोगों से यह जानने की कोशिश की – की उक्त बच्चों के जन्मदाता माता-पिता कौन हैं. और क्यों उक्त नवजात शिशु को उक्त जंगल के बीचों-बीच लाकर लावारिस स्थिति में क्यों फेंका गया. क्या उक्त नवजात शिशु किसी कुंवारी माता का तो नहीं है. और उक्त नवजात शिशु से संबंधित साक्ष्य छुपाने की कोशिश तो नहीं है ?? उक्त प्रश्नों से रहस्य का पर्दा उठाने का बहुत बड़ी चुनौती पुलिस के समक्ष हैं. अगर ऐसा हुआ तो उक्त संबंधित माता-पिता पर कठोर से कठोर कानूनी कार्रवाई की जाएगी.