बाघमारा विधायक ढुल्लू महतो के निर्वाचन को चुनौती देनेवाली जलेश्वर महतो की चुनाव याचिका की सुनवाई झारखंड हाइकोर्ट में शुक्रवार को हुई. मामले में जलेश्वर महतो की ओर से मंगवाये गये कुछ दस्तावेज यथा ढुल्लू महतो का नॉमिनेशन पेपर, वोटर अटेंडेंस रजिस्टर, बूथ नंबर 266 में पड़े वोट से संबंधित दस्तावेज कोर्ट के समक्ष प्रदर्श अंकित किये गये. इस मामले में जलेश्वर महतो की ओर से गवाही बंद कर दी गयी.
अब 19 दिसंबर से ढुल्लू महतो और उनकी ओर से अन्य गवाहों की गवाही शुरू होगी. मामले की सुनवाई हाइकोर्ट के न्यायमूर्ति गौतम कुमार चौधरी की कोर्ट में हुई. बता दें कि जलेश्वर महतो ने ढुल्लू महतो के निर्वाचन को रद्द करने का आग्रह किया है. याचिका में कहा गया है कि जिस समय ढुल्लू महतो ने अपना नामांकन जमा किया था उस समय वे डिसक्वालिफाइड थे, क्योंकि उनको अलग-अलग धाराओं में जो सजा हुई है वह कुल मिलाकर 2 साल से ज्यादा का समय हो जाता है. सुप्रीम कोर्ट के एक फैसले को आधार बनाते हुए कहा गया है कि ढुल्लू महतो का नामांकन रद्द होना चाहिए. रिटर्निंग ऑफिसर को उसी समय ढुल्लू महतो का नामांकन कर रद्द कर देना चाहिए था, लेकिन उन्होंने नहीं किया. याचिका में यह भी कहा गया था बहुत से बूथ जैसे बूथ नंबर 266 में 600-700 वोट पड़े थे लेकिन रिटर्निंग ऑफिसर ने उसे जीरो दिखाया था. प्रार्थी जलेश्वर महतो की ओर से कहा गया है कि वे बहुत कम मतों के अंतर से हारे हैं, इसलिए ढुल्लू महतो के निर्वाचन को रद्द कर कुछ बूथों पर पुनर्मतदान करायी जाये. अगर पुनर्मतदान होता है तो जलेश्वर महतो की जीत होगी. प्रार्थी जलेश्वर महतो की ओर से अधिवक्ता अरविंद कुमार लाल ने पैरवी की.