झारखंड के सबसे बड़े अस्पताल राजेंद्र इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज (रिम्स) में सबसे लंबे दिनों तक इलाज कराने वाले मरीजों में से एक राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव हैं। लालू रिम्स में दो साल से अधिक समय से इलाजरत हैं। अब इसे लेकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने मांग की है कि लालू को वापस जेल भेजा जाए।
भाजपा ने आरोप लगाया कि लालू प्रसाद ने अस्पताल में रोगी के रूप में रहने के सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। भाजपा की ओर से मांग की गई है कि लालू को वापस जेल अस्पताल में शिफ्ट किया जाए। वहीं दूसरी ओर राजद ने कहा है कि भाजपा बिहार चुनाव के कारण लालू फोबिया से ग्रसित हो गई है।
लालू प्रसाद को 29 अगस्त 2018 को रिम्स के कॉर्डियोलॉजी बिल्डिंग में शिफ्ट किया गया था। कार्डियोलॉजी विभाग में लालू को कुछ असुविधा होने के कारण रिम्स के पेइंग वार्ड में भर्ती कराया गया था। 5 सितंबर को लालू यादव को पेइंग वार्ड में शिफ्ट कराया गया था। 5 अगस्त 2020 को राजद सुप्रीमो को पेइंग वार्ड संक्रमण के डर से रिम्स के कैली बंगला में शिफ्ट कर दिया गया था।
वहीं इस बारे में जब रिम्स के डिप्टी सुप्रिटेंडेंट डॉक्टर संजय कुमार से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि मेरी जानकारी के अनुसार, लालू प्रसाद का दो साल से अधिक समय से इलाज चल रहा है, जो अब तक किसी भी मरीज के लिए सबसे लंबा समय है।
लालू प्रसाद कई सारी बीमारियों से जूझ रहे हैं, जिनमें सबसे बड़ी परेशानी उन्हें हुई टाइप-2 डायबटीज और ब्लड प्रेशर हैं। अभी लालू का इलाज कर रहे सीनियर डॉक्टर उमेश प्रसाद का कहना है कि अभी उनकी हालत स्थिर है। हालांकि, मंगलवार को उनका शुगर लेवल काफी उतार-चढ़ाव वाला था।
इससे पहले 2010-12 में, राज्य के पूर्व जल संसाधन मंत्री कमलेश सिंह ने भी सीबीआइ द्वारा दर्ज संपत्ति से जुड़े एक मामले का सामना किया था और हिरासत के दौरान उनका लंबे समय तक रिम्स में इलाज चला।
लालू यादव ने रिम्स के पेइंग वार्ड में 6 सितंबर 2018 से 4 अगस्त 2020 तक के लिये 7 लाख से अधिक का किराया भुगतान किया है। रिम्स के पेइंग वार्ड में इलाज के लिये प्रतिदिन 1 हजार रुपये देने होते हैं। सात लाख तक का भुगतान करने के बाद उन्हें रिम्स के डायरेक्टर आवास कैली बंगला में शिफ्ट किया गया, जहां उन्हें किसी भी तरह का भुगतान नहीं करना पड़ रहा है। हालांकि, रिम्स डायरेक्टर के पद प्रभार में होने के कारण आवास खाली था, लेकिन जल्द ही रिम्स डायरेक्टर की पदस्थापना होनी है, जिसके बाद लालू को शायद रिम्स के डायरेक्टर बंगला से कहीं और इलाज के लिये शिफ्ट कर दिया जाएगा।
झारखंड के भाजपा प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने कहा कि लालू प्रसाद ने सबसे लंबे समय तक अस्पताल में रहने के सभी रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। अगर रिम्स निदेशक के बंगले में उनका इलाज किया जा सकता है, तो जेल अस्पताल में उनका इलाज करने में क्या दिक्कत है? दरअसल, बिहार चुनाव के मद्देनजर उन्हें हेमंत सोरेन सरकार ने बंगले में स्थानांतरित कर दिया था। वो बंगला अब बिहार चुनाव के लिए राजद मुख्यालय के रूप में बदल गया है।
23 दिसम्बर 2017 को देवघर कोषागार से 84.53 लाख रुपये की अवैध निकासी के मामले में लालू प्रसाद को साढ़े तीन साल की सजा सुनाई गई थी। 24 मार्च 2018 को दुमका कोषागार से 3.13 करोड़ रुपये की अवैध निकासी के मामले में 2 अलग-अलग धाराओं में लालू को 7-7 साल की सजा सुनाई गई, जबकि 60 लाख जुर्माना भी लगाया। 3 अक्टूबर 2013 में चाईबासा कोषागार से अवैध तरीके से 37.7 करोड़ और 33.67 करोड़ रुपये की अवैध निकासी के मामले में पांच-पांच साल की सजा सुनाई गई है। लालू की यह तीनों सजा एक साथ चल रही है।